शिखा बंधन मंत्र | Shikha Bandhan Mantra |

 

शिखा बंधन मंत्र 


शिखा बंधन मंत्र


शिखा बंधन
शिखा बंधन मंत्र
शिखा कब बांधनी चाहिये ?

शिखी शब्द से शिखा नाम हुआ है।

शिखी का अर्थ है अग्नि

शिखी का दूसरा अर्थ है ज्ञान

और शिखा रखने से ज्ञान की प्राप्ति होती है

शिखा रखने से सहस्त्रार चक्र जागृत होने में सहायता मिलती है

शिखा रखने से हमारा शरीर तेजोमय रहता है

हमारे शरीर के तेज में वृद्धि होती है.

शिखा ज्ञान प्राप्त करने का वायरलेस नेटवर्क है

जो प्राप्त होने से हमारा जीवन सही दिशा में सत्य के साथ चलता है

शिखा हमारे सिर के मध्य भाग में होती है जिसे ब्रह्मरंध्र कहते है

और उसी जगह पर सहस्रार चक्र भी है

 

जिसे जागृत करने में शिखा हमें सहाय करती है


ॐ चिद्रूपिणि महामाये दिव्यतेजः समन्विते | 

तिष्ठदेवी शिखाबंधे तेजोवृद्धिं कुरुष्व में ||  


|| अस्तु || 

karmkandbyanandpathak

नमस्ते मेरा नाम आनंद कुमार हर्षद भाई पाठक है । मैंने संस्कृत पाठशाला में अभ्यास कर (B.A-M.A) शास्त्री - आचार्य की पदवी प्राप्त की हुईं है । ।। मेरा परिचय ।। आनंद पाठक (आचार्य) ( साहित्याचार्य ) ब्रह्मरत्न अवार्ड विजेता (2015) B.a-M.a ( शास्त्री - आचार्य ) कर्मकांड भूषण - कर्मकांड विशारद ज्योतिष भूषण - ज्योतिष विशारद

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